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यमुनानगर में हथिनीकुंड बैराज का जलस्तर बढ़ा, 32 हजार क्यूसेक पानी हुआ रिकॉर्ड

यमुनानगर
यमुनानगर के हथिनीकुंड बैराज पर हिमाचल के ऊपरी इलाकों में हुई बारिश का असर अब देखने को मिल रहा है। हथिनीकुंड बैराज पर पानी के जलस्तर में उतार-चढ़ाव देखने को मिल रहा है।  यमुनानगर सिंचाई विभाग काफी सतर्क हो गया है। सिंचाई विभाग के एक्सईन विजय गर्ग ने बताया कि इस बार प्री मानसून में सबसे ज्यादा 32 हज़ार क्यूसेक पानी दर्ज किया गया है जिसमें से 20 हज़ार क्यूसेक पानी यमुनानगर यानी दिल्ली की तरफ डायवर्ट किया गया है बाकी पानी को पश्चिमी यमुना और पूर्वी यमुना नहर में डाइवर्ट कर दिया गया है।

विजय गर्ग ने अगर हथिनीकुंड बैराज पर पानी का जलस्तर बढ़ता है तो हमारी तरफ से तैयारी पूरी कर ली गई है। हथिनी कुंड बैराज पर गेट के नीचे डायाफ्रॉम वॉल का काम प्री मानसून की वजह से बीच में ही छोड़ना पड़ा है। एक्सईन ने बताया कि महज 30 फीसदी ही काम हो पाया है बरसात के बाद दोबारा से इस पर काम लगाया जाएगा।
 
हथिनीकुंड बैराज पर 146 करोड़ की लागत से आई डायाफ्राम वाल का निर्माण किया जा रहा है जिससे पानी के तेज बहाव को कंट्रोल किया जा सके और गेट भी सुरक्षित रहें। गौरतलब है कि डेढ़ लाख क्यूसेक पानी पर मिनी फ्लड घोषित किया जाता है जबकि ढाई लाख पानी पर फ्लड घोषित किया जाता है सिंचाई विभाग की तरफ से खतरे का सायरन भी बजाया जाता है हर साल हथिनीकुंड बैराज से डायवर्ट किए गए पानी से यमुना के साथ लगे गांव प्रभावित होते हैं जिसकी दिल्ली तक मार होती है।

 

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