मध्य प्रदेश

इंदौर की सोनम का पता लगाने में शिवराज हुए सक्रिय, पीड़ित परिवार को दिया आश्वासन

इंदौर

मेघालय में इंदौर के मैरिड कपल राजा रघुवंशी की हत्या और उनकी पत्नी सोनम रघुवंशी के लापता होने के मामले में अब केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान सक्रिय हो गए हैं. उन्होंने इस मामले को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से बात की और शिलांग में मौजूद सोनम के भाई गोविंद रघुवंशी को फोन पर हर संभव मदद का आश्वासन दिया.

राजा रघुवंशी के परिवार ने इस मामले में केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान से मदद मांगी थी. रघुवंशी समाज का एक प्रतिनिधिमंडल भी उनसे मिलने पहुंचा था, जहां उन्होंने शिलांग में सोनम की तलाश में जुटे उनके भाई गोविंद से फोन पर बात करवाई.

मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गोविंद से कहा, ''मैं अमित शाह जी से इस पूरे मामले को लेकर बात कर रहा हूं. सोनम को ढूंढकर वापस लाएंगे.''

केंद्रीय मंत्री ने परिवार को भरोसा दिलाया कि इस मामले में कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी और सोनम की सुरक्षित वापसी के लिए हर संभव प्रयास किए जाएंगे. यह मामला अब केंद्रीय स्तर पर चर्चा में है और परिवार को उम्मीद है कि शीघ्र ही सोनम का पता लगाया जाएगा.

बता दें कि सोनम के भाई गोविंद रघुवंशी पुलिस के साथ लगातार सर्च ऑपरेशन में शामिल हैं. बीते दिन उन्होंने एक वीडियो जारी कर कहा, ''मैं सोनम का भाई हूं. मुझे अंदर से फीलिंग आ रही है कि सोनम अभी जिंदा है. पुलिस यहां डेड बॉडी ढूंढ रही है, लेकिन मेरा निवेदन है कि डेड बॉडी न ढूंढे, बल्कि सोनम को तलाशे. इस पूरे मामले की जांच सीबीआई से होनी चाहिए.''

गोविंद ने बताया कि जहां राजा का शव मिला था, वहां गहरी खाई में SDRF और NDRF ने पूरे क्षेत्र की तलाशी ली, लेकिन अब तक कोई सुराग नहीं मिला. सोनम के पास दो मोबाइल थे, जो अभी तक नहीं मिले. पुलिस के अनुसार, सोनम और राजा की आखिरी मोबाइल लोकेशन डबल डेकर लिविंग रूट ब्रिज के पास थी. गोविंद ने यह भी बताया कि 20 मई को उनकी सोनम से आखिरी बातचीत हुई थी.

उन्होंने कहा, ''सोनम और राजा का असम के गुवाहाटी जाने का प्लान था, लेकिन पता नहीं वे शिलांग कैसे पहुंच गए और कब उन्होंने यह प्लान बनाया? हम लोग पहले कभी शिलांग नहीं आए, हां, कामाख्या देवी के दर्शन के लिए जरूर आए थे.''

इस मामले में सोनम की तलाश जारी है, लेकिन परिवार और रघुवंशी समाज का मानना है कि बिना सीबीआई जांच के इस रहस्यमयी मामले की सच्चाई सामने नहीं आएगी.

टूरिस्ट गाइड ने बताया लापता होने से पहले वाला सीन

हनीमून के लिए निकले सोनम और राजा रघुवंशी 23 मई को मेघालय के शिलांग से लापता हो गए थे। राजा का शव 2 जून को मिला। पुलिस का कहना है कि राजा की हत्या की गई थी। इस मामले में एक टूरिस्ट गाइड, अल्बर्ट पडे ने कुछ जानकारी दी है। उसने बताया कि उसने सोनम और राजा को तीन अन्य लोगों के साथ देखा था। यह घटना मेघालय के नोंग रियात में डबल डेकर रूट ब्रिज के पास हुई। पुलिस मामले की जांच कर रही है और सोनम की तलाश जारी है।

कौन हैं अल्बर्ट पडे?

अल्बर्ट पडे, जो माव्लाखियात गांव का टूरिस्ट गाइड है, ने पहली बार पत्रकारों को यह जानकारी दी है। पडे ने बताया कि उसने सोनम और राजा को तीन आदमियों के साथ माव्लाखियात पार्किंग की ओर जाते हुए देखा था। बता दें कि राजा का शव एक खाई में मिला था। पुलिस ने बताया कि उसकी हत्या की गई थी और पास में एक बड़ा चाकू मिला था, जिसका इस्तेमाल हत्या के लिए किया गया था।
पुलिस दर्ज कर चुकी है बयान

पडे पहले बात करने को तैयार नहीं था, लेकिन बाद में गांव वालों के कहने पर उसने बात की। उसने बताया कि पुलिस ने पहले भी उसका बयान दर्ज किया था। यह पहली बार था जब उसने मीडिया से बात की।
22 मई की शाम को मिला था गाइड

पडे ने बताया कि 22 मई की शाम को उसने सोनम और राजा से बात की थी और उनसे पूछा था कि क्या उन्हें गाइड की ज़रूरत है। लेकिन उन्होंने मना कर दिया। यह जोड़ा शिलांग से किराए पर दोपहिया वाहन लेकर माव्लाखियात पहुंचा था। यह गांव नोंग रियात में डबल डेकर रूट ब्रिज का मुख्य प्रवेश द्वार है। भा वानसाई नाम के एक गाइड ने, जिसे इस जोड़े ने माव्लाखियात से छोड़ने के लिए किराए पर लिया था, उन्हें नोंग रियात में शिप्रा होमस्टे पहुंचाया, जहां वे उस रात रुके थे।
अगले दिन सुबह 10 बजे फिर देखा

पडे ने बताया कि उसने सोनम और राजा को अगले दिन सुबह करीब 10 बजे देखा था, जब वह डबल डेकर रूट ब्रिज की ओर जा रहा था। दोनों पार्किंग की ओर जा रहे थे। सोनम, राजा से पीछे चल रही थी। राजा तीन 'टूरिस्टों' के साथ दोस्ताना बातचीत कर रहा था और वे हिंदी में बात कर रहे थे। जब पडे से पूछा गया कि क्या उसने कुछ संदिग्ध देखा, तो उसने कहा, 'मैं कह नहीं सकता क्योंकि वे हिंदी में बात कर रहे थे, जो मुझे ज़्यादा समझ में नहीं आती। अगर वे अंग्रेजी में बात कर रहे होते तो मैं समझ जाता। जब वे लौट रहे थे तो मैंने जोड़े से बात नहीं की, क्योंकि उन्हें गाइड की ज़रूरत नहीं थी।'
घटना से टूरिज्म पर बुरा असर

इस घटना के बारे में बात करते हुए उसने कहा, 'हमें बुरा लग रहा है, क्योंकि हमने बचपन से अपराध की ऐसी घटनाएं नहीं देखीं। हम भगवान से डरते हैं। गांव वाले इस बात से चिंतित हैं कि कहीं उनका नाम बदनाम न हो जाए, क्योंकि पुलिस ने बताया है कि हत्या में इस्तेमाल किया गया हथियार नया था और पहले कभी लकड़ी काटने के लिए इस्तेमाल नहीं किया गया था।
दूसरे गाइड ने क्या बताया

इस बीच, वानसाई ने कहा कि जोड़े ने उसे लिविंग रूट ब्रिज के पास एक गेस्ट हाउस में छोड़ने के लिए किराए पर लिया था। उन्होंने कहा, 'राजा, अंग्रेजी में ज़्यादा बात नहीं करते थे। सोनम ज़्यादातर बात कर रही थी। उन्होंने आगे कहा कि जोड़े ने उनकी सेवाएं लेने से इनकार कर दिया क्योंकि उन्होंने दावा किया कि वे रास्ते को जानते हैं।' उन्होंने कहा कि उन्होंने जोड़े को जाते हुए नहीं देखा, लेकिन उन्होंने देखा कि उनकी स्कूटी पार्किंग में नहीं थी।
नंबर प्लेट नोट नहीं करते थे, अब करेंगे

उन्होंने कहा, 'हम पार्किंग देते हैं और ड्राइवर या वाहन मालिक को रसीद देते हैं। हम शायद ही कभी नंबर प्लेट नोट करते हैं, जो अब हम करेंगे।' वानसाई ने कहा कि इस घटना से पर्यटकों की संख्या पर असर पड़ा है। उन्होंने दुख जताते हुए कहा, 'मेघालय को सोशल मीडिया पर बदनाम किया जा रहा है, जबकि हम में से कई लोगों को इसके बारे में पता भी नहीं है। यह आश्चर्य की बात है कि स्कूटी सोहरा रिम कैसे पहुंची, जबकि शव वेइसवडोंग में मिला।
सीसीटीवी की संख्या भी है कम

माव्लाखियात पार्किंग की लॉगबुक भी ठीक से नहीं रखी गई थी। इसमें कोई नाम या वाहन नंबर दर्ज नहीं थे। ग्रामीणों ने इसका कारण पर्यटकों और वाहनों की बड़ी संख्या को बताया, जिससे एक्टिविटी को ट्रैक करना लगभग असंभव हो गया। इसके अलावा, बुनियादी ढांचे की कमी, जैसे कि लगातार बिजली की आपूर्ति और उचित सड़कें, CCTV कैमरे लगाने के विचार को कमजोर बना देती हैं।
23 मई को क्या हुआ था?

बताया जाता है कि जोड़े ने 23 मई को सुबह 6 बजे शिप्रा होमस्टे से चेक आउट किया था। अगली रात करीब 9 बजे सोहरा रिम गांव के सरदार ने पुलिस को एक लावारिस स्कूटी के बारे में जानकारी दी। अधिकारियों ने ई-चालान रिकॉर्ड के माध्यम से इसके स्वामित्व का पता लगाया, जिससे वे किराये की एजेंसी तक पहुंचे, जिसने पुष्टि की कि इसे लापता जोड़े ने किराए पर लिया था।
फिलहाल क्या हो रहा है?

राजा का शव 2 जून की दोपहर को वेइसवडोंग जलप्रपात के पास मिला था। सोनम का अभी तक पता नहीं चल पाया है। पुलिस ने पुष्टि की है कि मामले को अब हत्या के रूप में माना जा रहा है।

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